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राजस्थान पशु चिकित्सा और पशु विज्ञान विश्‍वविद्यालय, बीकानेर Rajasthan University of Veterinary and Animal Sciences, Bikaner (Accredited by VCI and ICAR)

पशुओं एवं मुर्गियों में रोग निदान पर पशुचिकित्सकों का प्रशिक्षण शुरू

बीकानेर, 11 मार्च। वेटरनरी कॉलेज, बीकानेर के एपेक्स सेंटर द्वारा “पशुओं व मुर्गियों में रोग निदान” विषय पर तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का सोमवार को शुरू हुआ। उद्घाटन सत्र को सम्बोधित करते हुए मुख्य अतिथि कुलपति प्रो. सतीश के. गर्ग ने कहा कि पशुचिकित्सकों को विभिन्न संक्रामक बीमारियों के रोग निदान का पूर्ण ज्ञान होना बहुत आवश्यक है। पशुओं में संक्रामक रोग बहुत तेजी से फैलते है। अगर समय पर रोग निदान या डायग्नोसिस हो जाये तो उपयुक्त ईलाज द्वारा संक्रमण को नियंत्रण कर सकते है। रोग संक्रमण के नियंत्रण से ना केवल पशुओं की मृत्यु दर पर नियंत्रण कर सकते है अपितु पशुपालकों को आर्थिक नुकसान से भी बचाया जा सकता है। पशुचिकित्सकों को पशुओं में टीकाकरण को एक अभियान के रूप में अपनाकर संक्रामक बीमारियों को खत्म करने में अपना योगदान देना चाहिए। प्रशिक्षण कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के प्रति कुलपति प्रो. हेमन्त दाधीच ने कहा कि इस प्रशिक्षण के माध्यम से पशुचिकित्सकों को पोस्टमार्टम के आधार पर पशुओं में रोग-निदान के विभिन्न तरीकों को समझने का मौका मिलेगा जो कि रोग नियंत्रण में सहायक सिद्ध होगा। इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि अतिरिक्त निदेशक डॉ. शुचिस्मिता चटर्जी ने कहा कि पशुचिकित्सकों को प्रशिक्षण के माध्यम से रोग ग्रस्त पशुुओं के रक्त, पेशाब, गोबर आदि नमूने प्रयोगशालाओं में परीक्षण हेतु भेजने के तरीकों को समझने का मौका मिलेगा, ताकि रोगग्रस्त पशुओं को उचित ईलाज मिल सके। प्रशिक्षण समन्वयक एवं प्रभारी अधिकारी एपेक्स सेंटर डॉ. जे.पी. कछावा ने प्रशिक्षण कार्यक्रम की विस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए बताया कि इस तीन दिवसिय प्रशिक्षण में बीकानेर, चूरू, श्रीगगांनगर एवं हनुमानगढ़ जिले में कार्यरत 24 पशुचिकित्सक प्रशिक्षण ले रहे है। प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान निदेशक मानव संसाधन विकास प्रो. बी.एन. श्रृंगी, डॉ. तरुणा भाटी, डॉ. राजकुमार एवं स्नातक एवं स्नातकोत्तर विद्यार्थी उपस्थित रहे। कार्यक्रम के दौरान मंच संचालन डॉ. बसन्त ने किया।